असम के वन भैंसों से छत्तीसगढ़ में बढ़ेगा कुनबा…नए मेहमान को लेने जा रही टीम
रायपुर। छत्तीसगढ़ में राजकीय पशु वन भैंसा का कुनबा बढ़ाने के लिए वन विभाग की कवायद तेज हो गई है, क्योंकि प्रदेश में वन भैसों की संख्या लगातार कम हो रही है। राजकीय पशु की संख्या प्रदेश में बढ़ाने के लिए वन विभाग लगातार प्रयास कर रही है, लेकिन सफलता अभी तक नहीं मिली है।
असम से मादा वन भैंसा लाया जाना है। असम स्थित नेशनल पार्क से चार मादा वन भैंसा लाने के लिए जल्द ही रायपुर से वन विभाग की टीम असम के लिए रवाना होगी। वन विभाग ने असम टीम भेजने के लिए पूरी तैयारी कर ली है। वन विभाग के अधिकारी का कहना है कि होली का इंतजार हो रहा था, अब टीम को रवाना किया जाएगा।
ज्ञात हो कि असम स्थित मानस नेशनल पार्क से पांच मादा और एक नर वन भैंसा लाने के लिए विभाग से अनुमति मिली थी। वन विभाग की टीम अप्रैल 2020 में नेशनल पार्क जाकर एक मादा और एक नर वन भैंसा लाया है। दोनों को बारनवापारा स्थित दस एकड़ क्षेत्रफल में रखा गया है। प्रदेश में वन भैंसा की संख्या बढ़ाने के लिए असम से वन भैंसा लाने की कवायद पिछले दस साल से चल रही थी, लेकिन एनटीसीए से अनुमति नहीं मिल रही थी। अनुमति मिलने के बाद कवायद तेज हुई है।
जानिए कौन सी प्रजाति के वन भैंसे को लाया जा रहा है
असम से बुबैलस बुबालिस प्रजाति के वन भैंसा को लाया जाना है। छत्तीसगढ़ में इसे अर्ना के नाम से भी जाना जाता है। यह प्रजाति उत्तर-पूर्वी राज्यों में पाई जाती है। पूरे भारत में यह प्रजाति सिर्फ पांच फीसद ही है। छत्तीसगढ़ में लगातार वन भैंसे की घटती संख्या को देखते हुए इनके सरंक्षण के लिए वर्ष 2001 में इसे राजकीय पशु घोषित किया गया।
घट रही राजकीय पशु की संख्या
छत्तीसगढ़ का गठन होने के बाद प्रदेश में वन भैंसों की संख्या करीब 80 थी, लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के चलते दिन-ब-दिन वन भैंसों की संख्या में तेजी से कमी आने लगी। वर्ष 2005-06 में इनकी संख्या घटकर 12 के करीब पहुंच गई थी । वर्तमान में प्रदेश में राजकीय पशु की संख्या घटकर 10 रह गई है। प्रदेश में वन भैंसे की संख्या बढ़ाने के लिए पिछले पांच साल से कार्ययोजना बनाई जा रही थी। वन विभाग की टीम अक्टूबर में असम जाने वाली थी, लेकिन तकनीकी कारणों से विभागीय अफसर असम नहीं जा पाए, लेकिन मंगलवार को इस कार्य योजना पर अमली जामा पहनाया गया।
प्रदेश में वन भैंसा की संख्या बढ़ाने के लिए कवायद चल रही है। छह वन भैंसा असम नेशनल पार्क से लाना है। एक नर और मादा लाया जा चुका है। शेष चार अन्य वन भैंसा को लाने की कवायद चल रही है। इसके लिए जल्द ही टीम असम के लिए रवाना होगी – राजेश पाण्डेय, चीफ कंजरवेटिव फारेस्ट (सीसीएफ)