
सट्टा एवं अवैध प्लाटिंग को लेकर 2 कांग्रेसी नेताओं के बीच हुई झड़प…मारपीट तक पहुंचा मामला।
सक्ती: नगर मे बढ़ रहे अवैध प्लाटिंग एवं सट्टे के कारोबार को लेकर कांग्रेस के 2 नेता आपस मे भीड़ गए।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रदेश के प्रतिष्ठित नेता के दो नज़दीकी नेताओं के बीच यह आपसी भिड़ंत नोक-झोंक के अलावा आपसी मारपीट तक पहुंच गई।
दोनों कांग्रेसी नेताओं के बीच सक्ती मे चल रहे अवैध सट्टे एवं अवैध प्लाटिंग के कारोबार को लेकर सिर्फ बहस ही हो रही थी, आरोप-प्रत्यारोप मे एक ने दूसरे के ऊपर सट्टे के कारोबार के फलने फूलने और थाने मे संरक्षण एवं दलाली का आरोप लगाया तो वही दूसरे ने अवैध प्लाटिंग के कारोबार से मामला न्यायालय मे पहुंचने से प्रदेश के प्रभावशील एवं स्थानीय नेता का नाम बदनाम होने का आरोप लगाया है जिस पर सट्टे एवं अवैध प्लाटिंग के कारोबार को अपने राजनीतिक प्रभाव मे संरक्षण देने का आरोप लगाया है।
कुछ प्रत्यक्षदर्शियों ने नाम न बताने की शर्त पर बताया कि नगर तथा ग्राम निवेश से कांग्रेसी नेता को अवैध प्लाटिंग का नोटिस मिलना क्या प्रतिष्ठित नेता का नाम बदनाम नहीं करता?
तीखी नोकझोंक आपसी मारपीट तक पहुंच गई थी जिस पर आपसी बीच बचाव किया गया मामले की गंभीरता को समझते हुए दोनों नेताओं ने थाने मे कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई।
इस लड़ाई के कई मायने निकाले जा रहे हैं। एक नेता अपने वर्चस्व एवं पुराने रुतबे को लेकर लड़ाई लड़ रहा है तो वहीं दूसरा नेता 15 वर्षों के बाद शासन मे आने पर कारोबार से लाभ अर्जित करना चाहता है आपसी झड़प को लेकर तरह-तरह की चर्चाए हो रही है।
अंत मे कुल मिलाकर जिस प्रतिष्ठित नेता के बल पर यह अवैध कारोबार हो रहा है इसका अंजाम स्थानीय नेताओं को खुद ही भोगना पड़ेगा क्योंकि आम जनता एवं स्थानीय व्यक्ति ऐसे नेताओं के कृत्यों को अच्छे से जानती है। उक्त दोनों नेता जिस प्रतिष्ठित नेता के बदनाम होने की चिंता कर रहे हैं उनकी प्रतिष्ठा पर तो कोई आंच नहीं आएगी किंतु इनके कृत्यों ने इन्हें इस मुकाम तक पहुंचा दिया।